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Sep 3, 2013

क्षत्रिय वीर ज्योति का बानसूर में राजनैतिक चिंतन शिविर संपन्न

31 अगस्त 2013 शनिवार शायं 6 बजे से अलवर बानसूर के पास भर्तहरी की तपोभूमि, अरावली की हरियाली से आच्छादित वादियों के बीच रमेश सिंह शेखावत के कृषिफार्म पर क्षत्रिय वीर ज्योति की और से आयोजित समाज के विभिन्न सामाजिक संगठनों के साथ राजनैतिक चिंतन शिविर संपन्न हुआ|

शिविर में आठ घंटे से लम्बी चली चिंतन बैठक में क्षत्रिय वीर ज्योति के साथ राजपूत युवा परिषद्, करणी सेना, जय राजपुताना संघ व विभिन्न सामाजिक संगठनों के पदाधिकारियों व प्रतिनिधियों के साथ बानसूर विधानसभा क्षेत्र के सैंकड़ों राजपूत युवाओं व बुजुर्गों ने वर्तमान समय में राजपूत समाज की राजनैतिक स्थिति पर गहन मंथन करते हुए माना कि धीरे धीरे विभिन्न पार्टियों द्वारा राजपूत समाज को एक सुनियोजित षड्यंत्र के अंतर्गत देश के राजनैतिक परिद्रश्य से दूर किया जा रहा है| आजादी के बाद राजस्थान की पहली 180 सीटों वाली विधानसभा में 66 राजपूत विधायक थे जो वर्तमान विधानसभा की 200 सीटों में सिर्फ 25 पर राजपूत विधायकों की संख्या पर सिमट गये| इस तरह धीरे धीरे विधानसभा में राजपूत विधायक की कम उपस्थिति पर चिंता जाहिर करते हुए आने वाले चुनाव में राजस्थान विधानसभा में 40 राजपूत विधायकों को पहुंचाने का संकल्प लिया गया व इस संकल्प को पूरा करने हेतु एक रणनीति बनाई गयी जिस पर सभी सामाजिक संगठन एक मत से सहमत हुए|

क्षत्रिय वीर ज्योति के राजेंद्र सिंह बसेठ ने इस रणनीति का खुलासा करते हुए इस पर विस्तार से प्रकाश डालते हुए बताया कि राजपूत समाज ने चिंतन के बाद तय किया है कि जिस विधानसभा क्षेत्र में राजपूत मतों की संख्या अधिक है उस क्षेत्र से सर्वप्रथम राष्ट्रीय राजनैतिक दलों से राजपूत उम्मीदवार को टिकट देने की मांग की जायेगी| किसी भी राष्ट्रीय दल द्वारा राजपूत उम्मीदवार को टिकट दिए जाने के स्थिति में उसका समाज द्वारा हर प्रकार से सहयोग व समर्थन किया जायेगा, यदि दो राष्ट्रीय दल एक साथ राजपूत उम्मीदवार खड़ा करते है तो जीतने की अधिक संभावना वाले उमीदवार के पक्ष में समर्थन दिया जायेगा| दोनों राष्ट्रीय दलों द्वारा राजपूत को टिकट नहीं दिए जाने की स्थिति में किसी भी दल से चुनाव लड़ने वाले राजपूत उम्मीदवार को समर्थन देकर उसकी जीत सुनिश्चित की जायेगी| राजपूत मतों की अधिकता वाले स्थानों पर किसी भी दल से राजपूत उम्मीदवार को टिकट नहीं देने की स्थिति में समाज अपना उम्मीदवार खड़ा करेगा और क्षत्रिय वीर ज्योति अन्य सभी सामाजिक संगठनों को साथ लेकर समाज की और से चुनाव लड़ने वाले उम्मीदवार के लिए धन व साधनों की व्यवस्था करेगी|

इसके लिए क्षत्रिय वीर ज्योति के गणपत सिंह राठौड़ ने जो गुडगांवा में व्यवासायी है ने दस उम्मीदवारों को चुनाव सहायता के लिए एक एक लाख रूपये और चुनाव प्रचार तक एक एक गाड़ी की व्यवस्था का खर्च उठाने की घोषणा की|

इस चिंतन बैठक में बानसूर विधानसभा क्षेत्र से कांग्रेस टिकट के प्रबल दावेदार धर्मेन्द्र राठौड़ के लिए टिकट पक्की करने की मांग की गयी और कांग्रेस द्वारा मांग नहीं मानने की दशा में रमेश सिंह शेखावत को राजपूत समाज की और से बानसूर से चुनाव में उतारने की घोषणा की|

ज्ञात हो अलवर की 5 विधानसभा सीटों से राजपूत उम्मीदवार चुनाव जीत सकतें है पर चूँकि कांग्रेस नेता व मंत्री भंवर जीतेन्द्र सिंह अपनी सांसद सीट पक्की रखने के लिए राजपूत उम्मीदवार की जगह अन्य जातियों के लोगों को टिकट दिलवाते है ताकि लोकसभा चुनाव में वे लोग अपनी जाति के वोट उन्हें दिला सके| इस तरह एक व्यक्ति के लिए जिससे आमजन का किसी कार्य हेतु मिलना भी दूभर होता है, चार राजपूतों का राजनैतिक कैरियर दाँव पर लगा दिया जाता है| ज्ञात हो बानसूर से कांग्रेस टिकट के दावेदार धर्मेन्द्र राठौड़ जो भवंर जितेन्द्र के खास है फिर भी पिछले चुनावों में उन्हें टिकट छोड़नी पड़ी और इस त्याग के बदले उन्हें राज्यमंत्री का दर्जा वाला कोई पद मिला को समाज की बैठक में राजनैतिक रणनीति का पता चलने पर बैठक में दौड़े दौड़े आये जबकि आजतक वे भी समाज की बैठकों में आमंत्रण देने के बावजूद दुरी बनाये रखते है| यही नहीं उनके द्वारा इस रणनीति व भंवर जीतेन्द्र के खिलाफ समाज में रोष की सूचना देने पर भंवर जीतेन्द्र जो दोपहर अलवर पहुँचने वाले थे रात को अलवर आ धमके और सुबह होते ही समाज के लोगों को बुला कई कार्य नहीं करने के कारणों की मजबूरियां गिनाते हुए सफाई देने लगे उन द्वारा दी जा रही सफाइयों के वक्त उनके चेहरे पर समाज के रोष से पैदा खौफ साफ झलक रहा था, उनके झलकते डर को महसूस कर उपस्थित समाज के लोगों को पहली बार महसूस हुआ कि बिना डर के कोई नेता सीधे नहीं चलते|

चिंतन बैठक में साफ किया गया कि लोकसभा चुनाव में समाज भंवर जितेन्द्र सिंह के साथ है पर विधानसभा चुनाव में उन्हें अपनी मनमर्जी नहीं करने दी जाएगी|

इस चिंतन बैठक में भाजपा नेता देवीसिंह नरुका, क्षत्रिय वीर ज्योति के राजेन्द्र सिंह बसेठ, राजपूत युवा परिषद् के उम्मेद सिंह करीरी, कांग्रेस के राज्य मंत्री दर्जा प्राप्त धर्मेन्द्र राठौड़, अजीत मामडोली, राजवीर चौहान के अलावा स्थानीय लोगों ने अपने अपने विचार व सुझाव रखे|

राजेंद्र सिंह बसेठ व उम्मेद सिंह करीरी ने खींवसर विधानसभा क्षेत्र में बसपा से चुनाव लड़ रहे दुर्गसिंह चौहान के खिलाफ एक भाजपा राजपूत नेता नेता द्वारा राजपूत वोटों का ध्रुवीकरण करने की कोशिश को समाज की भावनाओं के विपरीत कुकृत्य बताते हुए राजनैतिक दलों के जर खरीद मानसिक गुलाम बन चुके राजपूत नेताओं को इस तरह के हथकंडों से दूर रहने की चेतावनी व सलाह दी| साथ ही ऐसे नेताओं के बहकावे में न आने की समाज से अपील की|

क्षत्रिय वीर ज्योति ने तय किया है कि आगामी चुनावों में प्रदेश के विभिन्न सामाजिक संगठनों को साथ लेकर बसपा, लोजपा सहित विभिन्न पार्टियों से चुनाव लड़ रहे राजपूत उम्मीदवारों का समर्थन व सहयोग करने के अलावा अलवर जिले की पांच सीटों पर राष्ट्रीय दलों द्वारा राजपूत उम्मीदवार नहीं उतारे जाने की स्थिति में समाज अपने उम्मीदवार मैदान में उतारेगा और अपनी राजनैतिक ताकत का अहसास करायेगा| बानसूर से रमेश सिंह के अलावा अलवर विधानसभा से बच्चू सिंह जी को चुनाव लड़वाने की सहमती भी बनी|

इसी रणनीति के तहत उम्मेदसिंह करीरी व राजेंद्रसिंह बसेठ ने खींवसर विधानसभा क्षेत्र में कुछ बैठकें आयोजित करने का निर्णय लिया ताकि समाज के लोगों में राजनैतिक चेतना जाग्रत कर लोकतंत्र में सिर गिनवाने की महत्ता समझाई जा सके|

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